मुंबई। बंबई उच्च न्यायालय ने 2022 के हिट-एंड-रन मामले में पुलिस की सुस्ती को लेकर कड़ी नाराजगी जताई है। अदालत ने कहा कि जांच में पुलिस का रवैया “बेहद लापरवाह और निंदनीय” रहा है और यह अपेक्षित मानकों पर खरा नहीं उतरा। न्यायमूर्ति रवींद्र घुगे और न्यायमूर्ति गौतम अंखड की पीठ ने निर्देश दिया कि मामले की सुनवाई शीघ्र की जाए और इसे एक वर्ष के भीतर पूरा किया जाए।
यह आदेश उस याचिका पर दिया गया जिसमें पीड़ित युवक की मां ने पुलिस की निष्क्रियता और आरोपी ट्रक चालक का पता लगाने में विफलता का मुद्दा उठाया था।
हादसा और जांच में सुस्ती
अगस्त 2022 में मलाड इलाके में तेज रफ़्तार ट्रक ने स्कूटर को टक्कर मार दी थी, जिसमें 20 वर्षीय युवक की मौत हो गई। पुलिस ने अक्टूबर 2023 में स्थानीय अदालत में ‘ए सारांश रिपोर्ट’ (आरोपी की पहचान नहीं) दाखिल कर दी। इसके बाद पीड़ित की मां ने उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया।
अदालत के हस्तक्षेप के बाद ही पुलिस ने मामले को दोबारा खोला और जांच शुरू की। पिछले महीने अदालत की फटकार के बाद पुलिस ने आरोपी ट्रक चालक को गिरफ्तार कर आरोप पत्र दाखिल किया।
अदालत की टिप्पणी
हाईकोर्ट ने कहा, “17 अगस्त 2022 की दुर्घटना में युवक की जान चली गई, लेकिन पुलिस को आरोपी का पता लगाने और आरोप पत्र दाखिल करने में पूरे तीन साल लग गए। यह स्थिति स्तब्ध करने वाली है।”
अदालत ने स्पष्ट किया कि जांच अधिकारी की जवाबदेही तय की जानी चाहिए, क्योंकि उसका आचरण जांच प्रक्रिया को कमजोर करने वाला और अस्वीकार्य है।